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हमारी आकाशगंगा के अंदर एक और गैलेक्‍सी? इस तस्‍वीर ने वैज्ञानिकों को भी हैरान किया

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रहस्‍यों से भरा हमारा ब्रह्मांड हर रोज कुछ नए आयाम पेश करता है। अब खगोलविदों ने हमारी आकाशगंगा के केंद्र में एक ऑब्‍जेक्‍ट को देखा है। यह एक छोटी सर्पिल आकार की आकाशगंगा लगती है। लेकिन ज्‍यादा संभावना इस बात की है कि यह एक तारा है। बताया जाता है कि यह तारा धूल से भरे गैलेक्टिक सेंटर में पृथ्‍वी से लगभग 26,000 प्रकाशवर्ष की दूरी पर स्थित है। यह तारा सूर्य से लगभग 32 गुना बड़ा है और वहां एक घूमती हुई गैस की विशाल डिस्‍क के अंदर बैठता है।  लाइव साइंस की रिपोर्ट के अनुसार, इस डिस्‍क को ‘प्रोटोस्टेलर डिस्क' के रूप में जाना जाता है। रिपोर्ट में बताया गया है कि ब्रह्मांड में इस तरह की डिस्‍क व्‍यापक रूप से फैली हुई हैं। ये तारों के लिए फ्यूल का काम करती हैं और युवा तारों को लाखों साल में एक बड़ा और चमकीला सूरज बनने में मदद करती हैं। लेकिन खगोलविदों ने ऐसा पहले कभी नहीं देखा कि एक आकार में एक छोटी आकाशगंगा दिखने वाली यह चीज हमारी आकाशगंगा के केंद्र में खतरनाक तरीके से परिक्रमा कर रही हो।  सवाल उठता है कि यह छोटी सर्पाकार आकृति कैसे आई और क्‍या ऐसी और भी हैं। नेचर एस्‍ट्रोनॉमी में प्रक...

Milky Way गैलेक्सी में एक अनजान चीज से निकल रही हैं X-Ray, वैज्ञानिक बोले- है नया तारा!

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अंतरिक्ष वैज्ञानिकों को हमारी गैलेक्सी Milky Way में एक अजब वस्तु खोज में पता चली है। इसे MAXI J1816-195 नाम दिया गया है और यह X-ray लाइट छोड़ रही है। वैज्ञानिकों को पहली बार इसके बारे में 7 जून को पता चला था। इसे जापान की स्पेस एजेंसी के ऑल स्काई एक्स रे इमेज (MAXI) के माध्यम कैप्चर किया गया है। इस खोज पर प्रकाश खगोल भौतिक शास्त्री हितोशी निगेरो और उनकी टीम ने डाला जो जापान की निहोन यूनिवर्सिटी से हैं। उन्होंने एस्ट्रोनॉमर टेलीग्राम में एक नोटिस के रूप में पोस्ट किया कि एक नए एक्स-रे स्रोत का पता लगाया गया है।   एस्ट्रोनॉमर एलेस्सांडरो पेट्रूनो द्वारा संकलित किए गए पल्सर डेटाबेस के अनुसार, यह वस्तु 30 हजार प्रकाश वर्ष की दूरी में स्थित है। उन्होंने बताया कि इसकी लोकेशन Serpens, Scutum और Sagittarius तारामंडल के प्लेन में कहीं है। यह वस्तु यूं तो काफी अधिक चमकीली दिखाई दे रही थी लेकिन वैज्ञानिक MAXI डेटा के माध्यम से इसकी पहचान नहीं कर सके। बाद में, पेंसिल्वेनिया स्टेट यूनिवर्सिटी के एक खगोल भौतिकशास्त्री, जेमी केनेआ और उनके सहयोगियों ने इसके असल स्थान का निरीक्षण करने के लिए नील ...

3 खरब प्रकाश वर्ष दूर स्थित गैलेक्सी से वैज्ञानिकों को मिल रहे हैं अजब सिग्नल!

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3 खरब प्रकाश वर्ष दूर स्थित एक गैलेक्सी से निकलते फास्ट रेडियो बर्स्ट (FRB) ने खगोल वैज्ञानिकों को चकरा दिया है। ये रेडियो वेव्ज़ के बर्स्ट होते हैं जो मिलिसेकंड जितने लम्बे होते हैं। ये रेडियो बर्स्ट पैदा होते हैं लेकिन दोहराते नहीं हैं। हालांकि, लेटेस्ट ऑब्जर्वेशन में रेडियो बर्स्ट को दोहराते हुए पाया गया है। खगोल वैज्ञानिकों ने FRB 190520 नाम की एक वस्तु का 20 मई 2019 में पता लगाया था।  इसकी लोकेशन का पता चीन में फाइव हंडरेड मीटर अपर्चर स्फेरिकल रेडियो टेलीस्कोप (FAST) के द्वारा लगाया गया था। उसके बाद यह रेडियो बर्स्ट नवंबर में टेलीस्कोप डेटा में सामने आया। FRB 190520 के बारे में आगे स्टडी करने पर वैज्ञानिकों ने पाया कि यह तेजी से रिपीट होने वाला रेडियो वेव्ज़ का बर्स्ट है। इस स्टडी को Nature जर्नल में एक नई रिपोर्ट के तहत प्रकाशित किया गया है।  2020 में वैज्ञानिकों की टीम ने National Science Foundation के Karl G. Jansky Very Large Array (VLA) और दूसरे टेलीस्कोप का इस्तेमाल किया और इसे लोकेट किया। लोकेट करने के बाद हवाई के Subaru Telescope ने इसकी और ज्यादा साफ तस्वीर पेश की। स...

पृथ्वी से 240 करोड़ प्रकाश वर्ष दूर मौजूद गैलेक्सी में ढूंढा गया एक रहस्यमई स्ट्रक्चर

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इस यूनिवर्स में बहुत सी चीजें हैं, जो हम अभी तक नहीं जानते हैं। लेकिन दुनिया भर के एस्ट्रोनोमर्स लगातार उन रहस्यों को सुलझाने में लगे हैं। उन्होंने हाल ही में एक पहले से अज्ञात स्ट्रक्चर की खोज की है, जिसमें एक विशाल गैलेक्सी को कवर करने वाला एक रेडियो एमिशन था, जो छाया में छिपा हुआ था। इस गैलेक्सी 3C 273 में रेडियो एमिशन हजारों लाइट-ईयर दूर तक फैला हुआ है। रिसर्चर्स का कहना है कि गैलेक्सी के सेंटर में एक ऊर्जावान ब्लैक होल है। उन्होंने वर्तमान में सबसे बड़ी खगोलीय प्रोजेक्ट, अटाकामा लार्ज मिलिमीटर/सबमिलिमीटर एरे (ALMA) का इस्तेमाल कर यह खोज की है। पृथ्वी से 2.4 अरब लाइट ईयर की दूरी पर 3C 273 गैलेक्सी स्थित है। यह गैलेक्सी एक क्वासर है, जिसका मतलब है कि यह एक आकाशगंगा का केंद्रक है जिसके सेंटर में एक बड़ा ब्लैक होल है। यह ब्लैक होल अपने आसपास के मैटीरियल को निगल लेता है, और उससे भारी मात्रा में रेडिएशन निकलती है। रिसर्चर्स के अनुसार, इस गैलेक्सी को अक्सर दूरबीनों से देखा जाता है, क्योंकि इसे आकाश में एक रेफरेंस पॉइन्ट के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। 3C273 दूसरे शब्दों में एक र...

नासा को हमारी गैलेक्सी में मिला सुपर Black Hole, समाए हुए हैं 40 लाख से ज्यादा सूरज!

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अगर आप अंतरिक्ष को जानने में रुचि रखते हैं तो आपने ब्लैक होल (Black Hole) के बारे में जरूर सुना होगा। ब्लैक होल ऐसी जगहों में से है जो अब तक सबसे बड़ा रहस्य बने हुए हैं। इसके बारे में कहा जाता है कि इसका गुरुत्वाकर्षण बल इतना ज्यादा होता है कि यह किसी भी ग्रह को अपने में समा लेता है, यहां तक कि एक पूरी आकाशगंगा को भी! कहा जाता है कि ब्लैक होल को कोई भी चीज पार नहीं कर सकती है।  नासा ने ब्लैक होल के बारे में एक डराने वाली जानकारी साझा की है। नासा ने कहा है कि ब्लैक होल के बारे में जानने के लिए हमें ज्यादा दूर जाने की जरूरत नहीं है, बल्कि हमारी अपनी गैलेक्सी Milky Way में ही एक ब्लैक होल मौजूद है। नासा ने कहा है कि हमारी गैलेक्सी में Sagittarius A नाम का ब्लैक होल मौजूद है जिसमें लाखों की संख्या में सूर्य जैसे पिंड समाए हुए हैं। नासा ने यहां तक अनुमान लगाया है कि इसमें 4 मिलियन यानि कि लगभग 40 लाख तक सूर्य हो सकते हैं।  ब्लैक होल में सुपर ग्रेविटी जोन माना जाता है। इसकी ताकत इतनी ज्यादा होती है कि यह अपने संपर्क में आने वाली हर चीज को अपने अंदर खींच लेता है। इसका कारण गुरुत्वाकर्षण क...

छोटी आकाशगंगाओं को ‘निगल’ कर बड़ी हो रही यह गैलेक्‍सी! हबल टेलीस्‍कोप ने खींची तस्‍वीर

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पिछले 30 साल से अंतरिक्ष में तैनात हबल स्‍पेस टेलीस्‍कोप (Hubble Space Telescope) हमें इस ब्रह्मांड की बारीकियों से रू-ब-रू करवा रहा है। कोई सप्‍ताह ऐसा नहीं होता, जब हमें इस टेलीस्‍कोप के द्वारा खींची गई इमेज देखने को ना मिले। अब इसने एक विशाल आकाशगंगा के शानदार नजारे को कैद किया है। यह हमारी आकाशगंगा- ‘मिल्‍की वे' से भी दोगुनी बड़ी है। यह एक अंडाकार आकाशगंगा है, जिसे NGC 474 के नाम से जाना जाता है, जो पृथ्वी से लगभग 100 मिलियन प्रकाश वर्ष की दूरी पर स्थित है। हबल टेलीस्‍कोप ने इस आकाशगंगा के सेंट्रल रीजन को नजदीक से कैप्‍चर किया, जिससे इसके आकार का पता चलता है। हालांकि इसकी एक और खूबी है।  अपने सर्वे के दौरान हबल टेलीस्‍कोप के एडवांस्‍ड कैमरों ने NGC 474 की नई इमेज को कैप्‍चर किया। इसके लिए टेलीस्‍कोप के वाइड फील्ड और प्लैनेटरी कैमरा 2 और वाइड फील्ड कैमरा 3 के डेटा का भी इस्‍तेमाल किया गया।  नासा के अनुसार, NGC 474, हमारी आकाशगंगा यानी मिल्की वे से 2.5 गुना बड़ी है। लेकिन इसका बड़ा आकार ही इस आकाशगंगा की इकलौती खूबी नहीं है। हबल टेलीस्‍कोप के हालिया ऑब्‍जर्वेशंस से पता चलता ह...

हमारी गैलेक्सी में छिपा था भयानक ब्लैक होल, तस्वीर में हुआ कैद

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गुरुवार को वैज्ञानिकों ने हमारी मिल्की वे गैलेक्सी के सेंटर में छिपे हुए एक ब्लैक होल को ढूंढा है। यह बेहद बड़ा ब्लैक होल है, जिसकी तस्वीर को शेयर भी किया गया है। कहा जा रहा है कि यह किसी भी पदार्थ को अपने जबरदस्त गुरुत्वाकर्षण खिंचाव से अपने भीतर खींच सकता है। इस ब्लैक होल का नाम Sagittarius A* है और इसे SgrA भी कहा जाता है। यह हमारे सूर्य के मास का 40 लाख गुना है और यह लगभग 26,000 लाइट-ईयर दूर है। समाचार एसेंजी Reuters के अनुसार, Sagittarius A* दूसरा ऐसा ब्लैक होल है, जिसकी तस्वीर बनाई गई है। यह उपलब्धि उसी इवेंट होराइजन टेलीस्कोप (EHT) के अंतरराष्ट्रीय सहयोग द्वारा हासिल की गई थी, जिसने 2019 में एक अलग आकाशगंगा के केंद्र में स्थित ब्लैक होल की पहली तस्वीर ली थी। जैसा कि हमने बताया,  Sagittarius A* हमारे सूर्य के मास का 40 लाख गुना है। ब्लैक होल जबरदस्त गुरुत्वाकर्षण वाले बेहद घनी वस्तुएं हैं, जो इतनी मजबूत हैं कि इनसे लाइट भी नहीं बच सकती है। यही वजह है कि उन्हें देखना काफी मुश्किल हो जाता है। एक ब्लैक होल के इवेंट होराइजन से वापस आना असंभव है, चाहे वो तारे, ग्रह, गैस, धूल और कि...

देखें कैसे '10' नंबर की शेप में दिखाई दे रही हैं 2 गैलेक्सी, NASA के टेलीस्कोप ने किया कैप्चर

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अपनी 30 से अधिक वर्षों की सर्विस में, NASA के हबल स्पेस टेलीस्कोप (Hubble Space Telescope) ने पेचीदा ब्रह्मांडीय घटनाओं (कॉस्मिक इवेंट्स) के 13 लाख से अधिक अवलोकन किए हैं। इसने एक बार अपने प्राइम वर्किंग कैमरा - वाइड फील्ड प्लैनेटरी कैमरा 2 (WFPC2) का इस्तेमाल करते हुए, Arp 147 नाम के एक गुरुत्वाकर्षण द्वारा एक-दूसरे से आकर्षित हो रही दो आकाशगंगाओं को कैप्चर किया था। अब, NASA ने तस्वीर को फिर से इंस्टाग्राम पर शेयर किया गया है। तस्वीर दो आकाशगंगाओं को इस तरह से कैप्चर करती है कि वे संख्या '10' की शेप में दिखाई देती हैं। इसमें बाईं ओर की गैलेक्सी "1" की शेप बनाती है, जो स्टारलाइट की एक रिंग की तरह दिखाई देती है। वहीं, दाईं ओर वाली गैलेक्सी "0" की तरह दिखाई देती है। नासा के हबल स्पेस टेलीस्कॉप ने इंस्टाग्राम पर तस्वीर को कैप्शन देते हुए लिखा (अनुवादित), "ARP 147 में आपका स्वागत है, एक इंटरैक्टिंग गैलेक्सी जोड़ी! इस हबल क्लासिक तस्वीर में सबसे बाईं ओर की आकाशगंगा हमारी दृष्टि रेखा के लगभग किनारे पर दिखाई देती है और इसमें स्टारलाइट की एक रिंग है। दायीं ...

चलते हुए जहाज जैसी गैलेक्सी! हबल टेलीस्कोप ने खींची शानदार तस्‍वीर

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हबल स्पेस टेलीस्कोप (Hubble Space Telescope) ने हमारे ब्रह्मांड की अनेकों बेहतरीन इमेजेस खींची हैं। हाल ही में इस टेलीस्‍कोप ने एक और आश्चर्यजनक और खूबसूरत इमेज शेयर की है। इस बार टेलीस्‍कोप ने NGC 3318 गैलेक्‍सी (आकाशंगगा) को कैप्‍चर किया है। इस तस्‍वीर को यूरोपीय अंतरिक्ष एजेंसी (ESA) ने अपने ऑफ‍िशियल इंस्टाग्राम हैंडल पर शेयर किया। NGC 3318 के बाहरी किनारे ऐसे लगते हैं, जैसे आकाश में कोई जहाज चल रहा हो। अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा है कि NGC 3318 एक बेहतरीन ‘खगोलीय घटना' की जगह रहा है। इस विशाल सुपरनोवा की खोज एक शौकिया खगोलशास्त्री ने साल 2000 में की थी।  NGC 3318 और पृथ्वी के बीच की दूरी 115 मिलियन प्रकाश वर्ष दूर है। फोटो शेयर किए जाने के कुछ ही घंटों के अंदर इस इंस्टाग्राम पोस्ट को 7,000 से अधिक लोगों ने लाइक किया। कुछ दिनों पहले नासा ने भी यही तस्वीर इंस्टाग्राम पर शेयर की थी। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने कुछ सप्‍ताह पहले टकराती हुई आकाशगंगाओं की की एक इमेज भी शेयर की थी। इसे हबल टेलीस्कोप ने खींचा था। ये आकाशगंगाएं पृथ्वी से 215 मिलियन प्रकाश वर्ष दूर एक तारामंडल में स्थित थी...